एक बार फिरसे आपका स्वागत है वहां जहाँ आपको technology का कुछ न कुछ नया चटकारा रोज मिलता है. अब ये तो पूछने वाली बात नहीं है कि आप लोगो में से सभी को cricket बहुत पसंद होगा. और लाजमी है की आप लोग सोचते होंगे कि technology जैसे जैसे हर फ़ील्ड में आगे बढ़ी है, क्रिकेट भी इससे अछूता नहीं रहा है. Technolgoy के इतने एडवांस्ड होने से आजकल तो गलती की गुंजाईश ही नहीं है. हर decision मानो की एकदम perfect होना चाहिए. आखिर इतने बड़े stadium में umpire इतनी आसानी से हर चीज़ पर नज़र कैसे रखता है. तो हो जाइये तैयार जानने के लिए की उनके पास कौन कौन सी जादू की छड़ी होती है. और आज हम इसी पर बात करेंगे, कि ये सब होता कैसे है. और जानेंगे सबसे बेहतरीन 0 technology के बारे में. जो आपको मैच का पूरा मजा देते है.
HotSpot
हॉटस्पॉट टेक्नीक umpire के decision में बहुत मदद करता है. आजकल आप जानते होंगे की रिव्यु सिस्टम शुरु हो गया है. जब किसी टीम को अंपायर के डिसीजन को अपील करना होता है तो ये तकनीक काम में आती है, Decision Review System (DRS) में hotspot का मुख्य काम leg before wicket (lbw) पर नजर रखना होता है. पहले समय में हमारे पास कोई ऐसी technology नही थी. जिससे हम आसानी से पता लगा सके की ball pad से touch हुई की नही. जिससे umpire को बेहद कठिनाई होती थी. पर अब hotspot के इस्तेमाल से हम ये आसानी से पता लगा सकते है, की ball ने pad को touch किया या नही. Hotspot 2006 में आया. इसमें दो SLX-Hawk infrared cameras होते है जो की पता लगा लेते है कि बॉल ने pad को touch किया है. और umpire को एक सटीक उत्तर देने में मदद करते है. आज के समय में इस technology ने क्रिकेट LBW के controversial नियम को नया आयाम दिया है.

HAWK-EYE LBW detection system
DRS के दूसरा एक और भाग है – hawk eye. यह system तीन camera के साथ काम करता है. जो की ground के अलग – अलग कोने पर लगे होते है. जो की batsman और bowler के एक – एक कदम पर नजर रखते है. इन कैमरा की हेल्प 3d सिमुलेशन से आईडिया लगता है कि बॉल की trajectory क्या होगी. यह bowler की ball कराने के तरीके से path को extend करके देखता है और पता लगता है कि ball जो batsman के pad पर लगी है, अगर न लगती, तो क्या स्टंप से जाकर टकराती या नही. और यह आपको बताता है कि बैट्समैन LBW आउट है कि नहीं.

SPIDERCAM
आपने आजकल टीवी पर मैच देखते हुए हवा में उड़ते हुए कैमरा को देखा होगा. यह स्पाइडर कैम है. ये कोई भी shots बड़े आराम से ले सकता है. और पूरे ग्राउंड के ऊपर स्ट्रिंग्स की मदद से घूम सकता है. और आपको हर डाइमेंशन्स से इमेजेज और video दिखा सकता है. जब भी कोई नया player या कोई player जो out होकर वापस जाता है. यह उनकी काफी करीब से zoom तसवीरे लेता है. और आप इसकी मदद से ही मैच के ग्राउंड्स के और करीब के शॉट्स देख कर हर एक पल का पूरा मजा लेते है.

TRACAB optical player tracking
यह एक एक नई technology है. पर क्रिकेट में आने से पहले इसका इस्तेमाल football और बेसबाल के matches में होता रहा है. यह एक player tracking system है. जिसकी मदद से हर खिलाडी की position और उसकी गतिविधियों पर real टाइम में देखा दिया जा सकता है. इससे प्लेयर्स की एक्चुअल पोजीशन आप स्क्रीन पर देख सकते हैं कि कितने प्लेयर्स ऑफ साइड में हैं और कितने ओन साइड में और कहाँ कहाँ.

Halk-eye Ultra edge
यह एक sound detection system है. जिसकी मदद से lbw और bowled जैसे decision लेने में बेहद आसानी होती है. यह system wickets में होता है. जिसकी मदद से अलग – अलग आवाजों का पता चलता है. जब एलबीडबल्औयू और catch आउट में बैट एंड पैड हुआ है या फिर पैड एंड बैट हुआ है, इससे आसानी से पता चल जाता है और अंपायर बता पाते हैं कि ball आखिर bat से touch हुई या pad से. जिससे आउट या नोट आउट का decision लिया जाता है. इसकी खास बात ये है की, ये audio के साथ slow motion camera का भी इस्तेमाल करता है. जिससे गलती की कोई गुंजाईश नही रह जाती.
BATCAM
Batcam technology के अन्दर दो चीज़े आती है. पहली BatcamFLY जिसमे 360 degree देखने वाले camera लगे होते है. यह drone की मदद से इस्तेमाल किया जाता है. इसमें 10x zoom technology है. जिसकी मदद से यह ground के चप्पे- चप्पे की खबर रखता है. और दूसरा है – BatcamDRIVE इसका मुख्य काम होता है. जो shots pitch से मारे जाते है उनकी speed और जानकारी रखना. यह उन shots तक की pictures ले सकता है, जो 30mph की speed से जा रहे हो. ये दोनों batcam remote द्वारा control किये जाते है.

STAT Sports trackers
यह UK की एक sports technology company – STAT Sports द्वारा तैयार की गई है. इसे कई सारी मशहूर football की टीम इस्तेमाल पहले से ही कर रही थी. ये किसी सामान्य vest की तरह ही दिखती है. और इसे उसी प्रकार शरीर के उपरी भाग में पहना जाता है. इसमें कई तरह के sensors लगे है. जो की आपके शरीर की health और उसकी प्रक्रियाओं के बारे में जानकारी देता है. यह किसी भी खिलाडी speed, acceleration, और खिलाडी ने कितनी दूरी तय की है. साथ ही आपकी धड़कन (heart rate) और stress की जानकारी भी देती है. इन सब की जानकारी होने से खिलाडी अपनी performance को और भी ज्यादा बेहतर बना सकता है.

360-degree replays
इसका भी सबसे पहले world cup में इस्तेमाल हुआ था. ये technology piero नाम की एक technology compony द्वारा तैयार की गई है. ये सभी cameras की video को मिलाता है. फिर उसके बाद वो उन सबको मिलाकर एक 360 video तैयार करता है. जिसका replay आप सभी देखते है और आपको मैच का पूरा खेल हर एंगल से समझ में आता है. बिलकुल मैट्रिक्स मूवी के फेमस सीन्स की तरह.

माना की cricket एक बहुत पुराना खेल है. पर technology ने इसे अलग ही मुकाम पर पहूचा दिया है. और आज का cricket पहले के cricket से बहुत अलग है. इसी ज्ञान के साथ हम विदा लेते है और जल्द ही अगले article में मिलते है. और जुड़े रहिये ऐसे ही मजेदार technical dose के लिए एकदम देसी style में.